Desi Cousin First Sex – मौसी की बेटी की चूत को लगा लंड का स्वाद

Desi Cousin First Sex – मौसी की बेटी की चूत को लगा लंड का स्वाद

Desi Cousin First Sex

दोस्तो मेरी नाम सतीश है। उम्र 46 साल है। मैं हजारीबाग झारखंड का रहने वाला हूं। मेरा कद-काठी सामान्य है। मैंने 14 साल के उम्र में अपनी लंड की प्यास बुझाई थी। पहली बार मेरी सेक्सी मौसी ने मुझे अपनी बुर का स्वाद चखाया था। मौसी को चोदने के बाद से मेरा पढाई की ओर से मन खट्टा हो गया और मैं बस चूत मारने की फिराक में रहने लगा। Desi Cousin First Sex

एक बार लंड को चूत का स्वाद लग जाय दोस्तों तो फिर मन कहां लगता है। सिर्फ चूत की चुदाई को जी करता है। खैर मौसी तो अब काफी बुढी हो गयी है लेकिन उनका मैं उपकार कभी नहीं भूल सकता। उनका उपकार का मैने उनकी बेटी को चोदकर चुका दिया।

यानी की आज की कहानी में मैं बताऊंगा कि कैसे मैने अपनी सगी मौसी की बेटी जिसका नाम सीमा था उसकी चुदाई की थी। दोस्तो यह एक सच्ची घटना है। 1992 की बात है। जब मेरे घर में बड़ी दीदी की शादी थी। उस वक्त मेरी उम्र लगभग 16 साल की रही होगी। मैं उस वक्त दसवीं का छात्र था।

एक महीने पहले ही मौसी को चोद चुका था। 16 साल की उम्र में मेरा लंड बहुत तगड़ा था। मेरी मौसी के फटे हुए बुर को इसने सुजा दिया था। मौसी ने मेरी स्टेमिना और मेरी चुदाई की काफी प्रशंसा की थी। जिससे मेरा मनोबल काफी बढा हुआ था। बहरहाल कहानी पर आते हैं।

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मौसी को चोदने के बाद मुझे चुदाई का बहुत मन करता था। लेकिन चूत नहीं मिल रही थी। इसी दौरान मेरी बड़ी बहन की शादी सेट गयी थी। गर्मी के दिन थे। शादी का दिन नजदीक आते ही मेहमान आने लगे थे। ऐसे में शादी के तीन दिन पहले मौसी अपने बच्चों के साथ मेरे घर आ गयी। उनके दो लड़के और एक लड़की थी।

मैं मौसी को देख के काफी खुश हुआ लेकिन उससे भी ज्यादा खुशी सीमा को देखकर हुई। सीमा मुझसे एक साल बड़ी थी। उसकी उम्र 17 साल की थी। लेकिन वो 24/25 साल की महिला की तरह लगती थी। कारण ये था कि उसका शरीर काफी भरा-पूरा था। चुचियां एक दम से तनी हुई नुकिली लगती थी।

ऐसा लगता था जैसे कि खड़ी हो। गांड चौड़े और सुड़ौल थे। भरे-पूरे मादक गांड को देखकर किसी का भी मन डोल जाय। सलवार सूट में एक दम से टाईट लगते थे। गांड के बीच का दरार उभरे हुए दिखते थे। नैन-नक्श काफी तीखे थे। गोरी और बेहद खुबसूरत थी। मतलब वो अगर कही भी खड़ी हो जाती थी तो सभी का ध्यान उसके ऊपर रहता था।

उसमे एक आकर्षण थी, एक चुम्बकीय शक्ति जो किसी के लंड का पानी गिरवा दे। उसे देखकर मैं बहूत खुश था। पता नहीं मुझे क्यों ये महसूस हुआ कि ये शादी तो मेरी बहन की हो रही है लेकिन सुहाग रात मैं अपनी मौसेरी बहन के साथ मना लूंगा। मैं हर वक्त उसके नजरों के करीब रहता था।

हमउम्र होने के कारण हम दोनों में काफी पटने लगी थी। हमलोग मस्ती मजाक करते थे। इस दौरान कई बार मेरे हाथ उसकी चुचिंयों और गांड़ को टच करते थे। लेकिन वो कभी इसकर बुरा नहीं मानती थी। मेरे घर में मेहमान भरते जा रहे थे। गर्मी का दिन था तो सोने को लेकर कोई दिक्कत नहीं होती थी।

हमलोगों का घर बड़ा था। दूसरे दिन रात को बिजली चली गयी। मैं छत पर सोता था। मेरे साथ मेरे दो मौसेरे भाई सोए हुए थे। इसी दौरान मैने देखा कि सीमो चादर लेकर छत पर आयी और मेरे बगल में लगाकर सोने लगी।

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मैने उससे पूछा: छत पर क्यों आ गयी। यहां सो रही हो। क्या हुआ.

सीमा: क्यों तुम्हे कोई परेशानी है। चली जाऊं।

मैं: अरे ये बात नहीं। बस ऐसे ही पूछ रहा था।

सीमा: दो घंटे से लाईट नहीं है। काफी गर्मी लग रही है। नींद कैसे आएगी। छत पर ठीक लग रहा है।

मैं: ठीक है बाबा यहां सो जाओ.

उसके बाद वो मेरे बगल में चादर और तकीया लगाकर लेट गयी। हम दोनों कुछ देर बाते करतें रहें और हम दोनों को नींद आ गयी। अचानक रात को मेरी नींद खुली। मैं उठकर पेशाब करने चला गया। लौट के आया तो सीमा पर नजर पड़ी। वो नाइटी पहने हुई थी। उसका नाईटी जांघ तक उठा हुआ था।

उसकी गोरी व मखमली जिस्म को देखकर मेरे मन का शैतान जाग उठा। दिल ने कहा आज मौका है। अभी नहीं तो कभी नहीं फिर मौका मिलेगा। लंड भी जांघिया के अंदर सलामी देने लगा था। मैं धीरे से अपनी जगह पर लेट गया और अपने शरीर को रानी के शरीर के एकदम करीब ले आया। “Desi Cousin First Sex”

मुझे डर भी लग रहा था। कांपते हुए हाथों से मैने उसके उघरे हुए जांघ पर धीरे से हाथ रख दिये और नाईटी को ऊपर सरकाने लगा। धीरे-धीरे करते हुए नाईटी को कमर तक उठा दिया। अब मुझे उसकी पैंटी से निकले हुए आधे-अधुरे गोरे गाड़ दिखने लगे थे। उम्र भी कम थी। दिल की धड़कन काफी तेज हो गयी थी। और हाथ बेताहाशा कांप रहे थे।

मैं धीरे-धीरे उसके गांड को सहलाने लगा और उससे चिपक कर अपने लंड को उसमें रगड़ने लगा। इतने में सीमा पलट गयी और उसका चेहरा मेरी ओर हो गया। उसके और मेरे चेहरे की दूरी मात्र दो इंच की होगी। वो मुझसे सट चूकी थी। अब मेरी धड़कने काफी तेज हो गयी थी। मैंने धीरे से अपने हाथों को उसके चुचिंयों पर रखा।

कोई रिएक्शन ना देखकर दबाने लगा। एक दम मुलायम रूई की तरह चुचिंया मुझे महसूस हो रही थी। मुझे दबाने में काफी मजा आ रहा था। सीमा कुछ नहीं कर रही थी। मेरा गला सूख रहा था। चुचियों को दबाने के बाद मेरा मन बढ़ा और मैने दोनों हाथ नीचे कर उसके चूत को पकड़ लिया।

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पैंटी के ऊपर से उसके चूत को पकड़ते ही मेरा पानी निकल गया। पानी निकलते ही मुझे अब कुछ करने का मन नहीं कर रहा था। बहुत अजीब सा महसूस हो रहा था। मैने अपना हाथ उसके चूत के पास से हटाने की सोची। मैं जैसे ही हाथ को ऊपर किया वैसे ही सीमा ने मेरे हाथों को पकड़कर वापस अपने चूत पर रख दिया। “Desi Cousin First Sex”

सीमा जगी हुई थी। उसने मेरा हाथ खींच दिया और अपनी तरफ ले गयी। वह मुझे देखकर थोड़ा हंसी। मैं समझ गया था कि उसके मन में भी क्या चल रहा है। मैंने धीरे-धीरे उसकी चूचियों को दोबारा सहलाना शुरू कर दिया। उसने धीरे से मेरे जांघिया को उतार दिया था।

मैंने सिर्फ जांघिया और बनियान पहना था। मैं आधा नंगा हो चुका था। मैंने धीरे-धीरे सीमा की चूचियां सहलाना शुरू कर दिया। मैं उसे चूमने लगा, उसे चाटने लगा। वह बिल्कुल आग की तरह तप रही थी। मुझे लगा कि वह बहुत ज्यादा गरम है। इस दौरान सीमा ने धीरे से मेरे कानों में कुछ कहा।

सीमा: सतीश,एक बात बोलूं?

मैं: बोलो क्या हुआ?

सीमा: मेरा दूध पियेगा?

मैं- बिल्कुल जी आप नाराज नहीं हो तो.

सीमा: कोई नाराज नहीं होऊंगी. तू मेरा इतना ख्याल रखता है.

फिर क्या था उसने अपनी कमीज ऊपर की और ब्रा से बाहर बूब्ज निकाले। मां कसम क्या चुचियां थी एकदम मुलायम, सफेद चमकदार और गोलाकार। मैं तो पागल होता जा रहा था। नंगी चूचियां देखकर मेरे दिल की धड़कने काबू से बाहर हो रही थी। पहली बार ऐसे मदमस्त कसे हुए उरोज देखने का मौका मिला था। “Desi Cousin First Sex”

मुझे ऐसा लग रहा था कि मैं किसी आग के पास बैठा हूं। मुझसे अब रहा नहीं जा रहा था। मैंने उसके 32 इंच के चुचिंयों को चूसना चालू कर दिया। मेरी मौसी की जवान बेटी भी सिसकारियां ले रही थी। मैंने धीरे-धीरे अपना मुंह उसकी चूत की तरफ बढ़ा दिया था। मैंने उसकी नाईटी को खोल दिया।

हम दोनों ही नंगे हो चुके थे। मैंने धीरे-धीरे सीमा की चूत को चाटना शुरू कर दिया। उसकी चूत बिल्कुल गर्म हो चुकी थी और खूब पानी छोड़ रही थी। मैं मजे मजे से चाट रहा था। उसकी बुर में से जो रस निकल रहा था मैं उसे बार-बार जीभ के साथ चाट रहा था।

उसके चूत से निकलने वाला गंध मुझे पागल कर रहा था। वो भी जोर जोर से सिसकारियां ले रही थी। अपने मुंह पर उसने खुद अपना हाथ रख दिया ताकि शोर ना हो जाए और उसके भाई ना जाग जाए। मैंने धीरे-धीरे उसकी चूत और ज्यादा गर्म कर दी। मेरा लंड एक गरम रॉड के समान खड़ा था।

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मैंने अपना लन्ड निकाल कर सीमा के हाथ में दे दिया। वो भी जोश में थी। उसने ने मेरा लंड पकड़ा और उसे दबाने लगी। उसके हाथ का दबाव मेरे लंड पर जादू कर रहा था। सीमा के हाथ में जाने से मेरा लंड सख्त होकर फटने को हो रहा था। मेरी उत्तेजना अपने शिखर पर थी।

अब मैं सीमा की चूत में अपना लंड डाल कर अपने जीवन की दूसरी चुदाई कर लेना चाहता था। कुछ देर बाद मैं सीमा के ऊपर आया और उसकी चूत के मुंह पर अपने गर्म लंड का सुपारा रख दिया। अब तक सीमा समझ चुकी थी कि अब बहुत ज्यादा देर तक वो मेरे लंड से नहीं बच सकती। “Desi Cousin First Sex”

शायद यह सीमा की पहली चुदाई थी। उसकी सांसें घबराहट के मारे तेज तेज चल रही थी। मैंने धीरे-धीरे अपना लंड उसकी बुर में डालना शुरू कर दिया। सीमा की उत्तेजना भी अपने चरम पर थी। वह जोर-जोर से सिसकारियां ले रही थी। अब मैंने देर करना ठीक नहीं समझा और एक धक्का लगाया।

लेकिन मेरा लंड सीमा की चूत के अंदर नहीं गया। मैंने फिर दोबारा कोशिश की लेकिन चूत में लंड जा नहीं रहा था। मैं बेचैन हो रहा था। मेरा ऊतावलापन अपने चरम पर था। मैंने अपनी बड़ी उंगली को उसकी चूत में घुसा दिया। उसे इससे दर्द हुआ और उसकी सिसकी निकल गय।

इससे मुझे पक्का पता चल गया कि सीमा पहले कभी चुदी ही नहीं थी। फिर मैंने अपना लन्ड पर दोबारा बहुत सारा थूक लगाकर उसे गीला किया और उसकी बुर पर रख कर जोर से एक झटका दिया। सीमा की चूत में लंड थोड़ा सा ही गया था और उसकी चीख निकल गई।

मुझे लगा कि उसके भाई जाग जायेंगे। लेकिन उसने अपने मुंह पर खुद ही अपना हाथ रख दिया। और फिर मैंने खेल शुरू कर दिया। तकरीबन 5 मिनट तक मैंने उसकी चूत में धीरे-धीरे हल्के-हल्के लंड घुसाया। फिर से थूक लगाया और चूत को काफी गिला कर दिया।

उसे दर्द हो रहा था लेकिन वो भी चुदाई का मजा लेने को उतावली थी। बीच में मुझे दो एक झटके जोर के भी मारने पड़े क्योंकि लंड अंदर जाने से जैसे रुक गया था। इन झटकों से उसे बहुत दर्द हुआ, उसकी फिर चीख निकली। लेकिन वो सह गयी। मेरा लंड उसके चूत में आधा जा चूका था।

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मैंने फिर से ताकत लगाते हुए जोर का झटका लगाया और इस बार मेरा मोटा लंड उसके पावरोटी जैसे चूत को फाड़ते हुए अंदर समां गयी। उसकी चीख निकल गयी जिसे मैने अपने दोनों हाथों से दबा दिया। उसके चूत से खून के फव्वारे छूट रहे थे। खून पसर कर नीचे गिर रहा था।

लेकिन हम दोनो पर चुदाई का भूत सवार था। वो दर्द के बावजूद मुझे सहयोग कर रही थी। खून के कारण चूत काफी गिली हो गयी थी। अब मैंने सीमा की चुदाई धीरे धीरे शुरू की। कुछ मिनट तक आराम से सीमा को चोदा, फिर मैंने एकदम अपनी रफ्तार ज्यादा कर दी। अब उसे बहूत मजा आ रहा था।

सीमा बिल्कुल पागलों की तरह हो चुकी थी। उसके खुले बाल, बड़ी चूचियां और गर्म बुर मुझे दीवाना कर रही थी। मैं झटके पर झटके दे रहा था और सीमा गांड उछाल-उछाल कर मजे ले रही थी। 20 मिनट मैंने उसे जबरदस्त चुदाई की। कुछ ही देर में उसकी चूत से हल्का हल्का पानी आने लगा।

तभी उसने बताया कि वो छूटने वाली है। मैंने सीमा की चूत में धक्कों की स्पीड बढ़ा दी और वो ओह ओह ओह आह ओ..ह करती हुई झड़ गयी। उसी के साथ ही मैं भी झड़ गया। सच में दूसरी चुदाई में मुझे बहुत मजा आया। हमदोनो पस्त हो चूके थे। गरमी से हाल बेहाल था।

मैं धीरे से उठा और सबसे पहले अपने जांघिया से सीमा के चूत से निकले हुए खून को साफ किया। हम दोनों ने फिर कपड़े पहने एक साथ पेसाब किया और वापस अपने बिछावन पर आकर सो गये। दुख की बात ये है दोस्तो कि उसके बाद फिर मैं अपनी मौसेरी बहन सीमा को कभी चोद नहीं पाया। मैंने कई मालों को चोदा है लेकिन सीमा जैसी सीलपैक माल आज तक नहीं मिली। वो एक ऐसी चुदाई थी जिसे मैं ताउम्र भूल नहीं सकता।

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